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Loksabha Election 2024 :  अलवर में अनुभव को तरजीह या युवा चेहरे को मौका ? आज ईवीएम में कैद हो रही किस्मत

10:52 AM Apr 19, 2024 | Vivek Chaturvedi

Loksabha Election 2024 Alwar Rajasthan : अलवर। लोकतंत्र के महापर्व में राजस्थान की 12 सीटों पर जनता मताधिकार के जरिए किसे संसद पहुंचाती है, इसका फैसला शाम तक ईवीएम में कैद हो जाएगा। इन 12 सीटों में अलवर लोकसभा सीट भी काफी अहम है, क्योंकि यहां केंद्रीय मंत्री भूपेंद्र यादव चुनाव मैदान में किस्मत आजमा रहे हैं। जबकि कांग्रेस ने युवा चेहरा ललित यादव को मैदान में उतारा है। ऐसे में आज शाम तक इन दोनों की किस्मत ईवीएम में कैद हो जाएगी। यहां देखना होगा कि अलवर की जनता दो बार के सांसद और केंद्रीय मंत्री भूपेंद्र यादव के अनुभव को तरजीह देती है या फिर युवा चेहरे को संसद पहुंचाती है।

अलवर में 9 बजे तक 12फीसदी वोटिंग

अलवर में वोटिंग को लेकर मतदाताओं में काफी उत्साह नजर आ रहा है। सुबह 9 बजे तक ही यहां 12 फीसदी मतदान हो गया। यहां आर्य गर्ल्स कॉलेज सहित कई मतदान केंद्रों पर सुबह 7 बजे से ही मतदाताओं की कतार लगना शुरू हो गई। तिजारा विधायक बाबा बालकनाथ ने भी अपना वोट कास्ट किया और लोगों से मतदान करने की अपील की।

यहां चुनाव मैदान में हैं केंद्रीय मंत्री

अलवर लोकसभा सीट पर भाजपा ने केंद्रीय मंत्री भूपेंद्र यादव को चुनाव मैदान में उतारा है। जबकि कांग्रेस ने ललित यादव को प्रत्याशी बनाया है। इनमें भूपेंद्र यादव लगातार दो बार से राज्यसभा सांसद रहे हैं। वहीं केंद्रीय मंत्री भी हैं। वहीं ललित यादव अलवर के मुंडावर से पहली बार कांग्रेस से विधायक बने हैं।

मोदी की गारंटी और स्थानीय-बाहरी का मुद्दा

अलवर सीट पर भाजपा की तरफ से केंद्रीय मंत्री भूपेंद्र यादव मोदी की गारंटी के अलावा राम मंदिर, धारा 370 जैसे मुद्दों को लेकर चुनाव में दम भर रहे हैं। शहरी वोटर्स में इन मुद्दों की काफी चर्चा है। जबकि कांग्रेस ने यहां ललित यादव को स्थानीय प्रत्याशी बताते हुए यहां बाहरी और स्थानीय का नरेटिव बनाने की कोशिश की है।

लोकसभा-विधानसभा चुनाव का ट्रेंड

अलवर सीट पर अब तक के ट्रेंड की बात करें तो यहां विधानसभा चुनावों में कांग्रेस का दबदबा दिखता है। पिछले विधानसभा चुनाव में अलवर लोकसभा क्षेत्र की 8 में से 5 सीटें कांग्रेस ने जीती थीं। जबकि भाजपा तीन ही सीट जीत पाई थी। वहीं लोकसभा चुनाव का ट्रेंड कुछ अलग रहा है। यहां पिछले चार लोकसभा चुनावों में दो बार कांग्रेस और दो बार भाजपा जीत दर्ज कर चुकी है।